📍 लखनऊ/औरैया। आवाज़ प्लस विशेष रिपोर्ट – नैमिष प्रताप सिंह
राष्ट्रीय बागवानी विकास मिशन एवं उद्यान एवं खाद्य प्रसंस्करण विभाग, उत्तर प्रदेश के सदस्य अजीत प्रताप सिंह ने हाल ही में प्राकृतिक खेती, पशुपालन, कृषि एवं बागवानी के क्षेत्र में केंद्र और राज्य सरकार द्वारा चलाई जा रही योजनाओं की जानकारी साझा की।
🔶 प्राकृतिक खेती: भविष्य की दिशा
उन्होंने स्पष्ट किया कि गौ आधारित प्राकृतिक खेती आज के समय की आवश्यकता है। इससे न केवल किसानों की लागत घटेगी, बल्कि यह जल संरक्षण, मिट्टी की उर्वरता, पर्यावरण संतुलन और स्वास्थ्यवर्धक फसलों को भी बढ़ावा देगा।
“प्राकृतिक खेती न सिर्फ़ एक वैकल्पिक पद्धति है, बल्कि यह आने वाले कल का टिकाऊ समाधान है,” – अजीत प्रताप सिंह
👉 उन्होंने किसानों से अपील की:
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प्राकृतिक खेती को अपनाएं, जिससे खाद्य सुरक्षा और पोषण दोनों सुनिश्चित हों
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रसायनमुक्त खेती से देश को दें स्वस्थ और टिकाऊ भविष्य
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समुदायों और संगठनों को जोड़कर बनाएं एक सशक्त कृषि तंत्र
🟢 केंद्र और राज्य सरकार की प्रमुख योजनाएं जिनका उल्लेख हुआ:
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राष्ट्रीय बागवानी मिशन (NHM)
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प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि (PM-KISAN)
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परंपरागत कृषि विकास योजना (PKVY)
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गौ आधारित प्राकृतिक खेती प्रोत्साहन योजना (UP)
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एक जिला, एक उत्पाद (ODOP) योजना
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कृषि यंत्रीकरण योजना एवं जैविक खेती प्रोत्साहन योजना
🌿 सामाजिक सहभागिता का संकल्प
इस विचार गोष्ठी में कई प्रभावशाली सामाजिक व कृषि क्षेत्र के प्रतिनिधियों ने हिस्सा लिया और मिशन में सहयोग का भरोसा दिया:
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अभय उपाध्याय – उद्यमी एवं सामाजिक कार्यकर्ता
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वरुण कुमार शुक्ला – कृषक/व्यवसायी (घसारा, अछल्दा, औरैया)
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बद्री विशाल सिंह – सामाजिक कार्यकर्ता/कृषक
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रंजीत सिंह यादव – शिक्षक एवं कृषक
🔹 जन विश्ववास गृह उद्योग, गोमती नगर विस्तार, लखनऊ के सदस्यों ने भी इस मुहिम में सक्रिय सहयोग का आश्वासन दिया।
✅ निष्कर्ष:
यह पहल न केवल किसानों की आय को बढ़ाने की दिशा में मील का पत्थर साबित होगी, बल्कि यह देश को हरित, समृद्ध और स्वावलंबी कृषि अर्थव्यवस्था की ओर भी ले जाएगी।