गुजरात ATS की बड़ी कार्रवाई: ‘गजवा-ए-हिंद’ के सपने बुन रही शमा परवीन अंसारी गिरफ्तार, 10 हजार लोगों में फैला रही थी जिहाद का ज़हर

बेंगलुरु/अहमदाबाद – भारत की सुरक्षा एजेंसियों को आतंकवाद के खिलाफ एक बड़ी सफलता हाथ लगी है। गुजरात एटीएस (Anti-Terrorism Squad) ने झारखंड की रहने वाली शमा परवीन अंसारी को बेंगलुरु से गिरफ्तार किया है। शमा परवीन पर अलकायदा इंडियन सबकॉन्टिनेंट (AQIS) के लिए ‘ऑनलाइन मॉड्यूल’ चलाकर जिहादी विचारधारा फैलाने और भारत सरकार के खिलाफ सशस्त्र विद्रोह के लिए युवाओं को भड़काने का गंभीर आरोप है।

🔥 जिहादी प्रचार में सक्रिय थी शमा अंसारी

गुजरात ATS के अनुसार, शमा परवीन अंसारी पिछले काफी समय से सोशल मीडिया के जरिए करीब 10,000 लोगों को कट्टरपंथ और जिहाद के लिए उकसाने में सक्रिय थी।

वह दो फेसबुक पेज और एक इंस्टाग्राम अकाउंट के ज़रिए AQIS और अन्य आतंकी संगठनों के विचारों को फैलाने का काम कर रही थी।

👉 इन अकाउंट्स पर निम्नलिखित खतरनाक कंटेंट पाया गया:

  • AQIS नेता मौलाना असीम उमर के भाषण
  • मृत अलकायदा विचारक अनवर अल-अवलाकी के वीडियो
  • लाल मस्जिद, लाहौर के मौलाना अब्दुल अजीज के कट्टरपंथी बयान

इन पोस्ट्स में खुलेआम भारत के खिलाफ नफरत, ‘गजवा-ए-हिंद’ की कल्पना और काफिरों पर हमले जैसी विचारधारा का प्रचार किया जा रहा था।

📲 पाकिस्तान से भी जुड़ाव के संकेत

जांच में यह भी सामने आया कि शमा परवीन अंसारी का पाकिस्तान में मौजूद कुछ लोगों से ईमेल और फोन के जरिए सीधा संपर्क था। इससे यह स्पष्ट होता है कि यह कोई एकल प्रयास नहीं, बल्कि संगठित ऑनलाइन आतंकी नेटवर्क का हिस्सा था।

🧩 दिल्ली से फइक की गिरफ्तारी के बाद हुआ खुलासा

इस मामले की शुरुआत 23 जुलाई को दिल्ली निवासी मोहम्मद फइक की गिरफ्तारी से हुई थी। फइक ने पूछताछ में स्वीकार किया कि वह जो जिहादी वीडियो शेयर करता था, वह शमा के फेसबुक और इंस्टाग्राम पेज से लिए गए थे।

इसके बाद ही गुजरात एटीएस ने कर्नाटक पुलिस और केंद्रीय एजेंसियों के सहयोग से बेंगलुरु में ऑपरेशन चलाया और शमा परवीन को गिरफ्तार कर लिया।

🕵️‍♂️ गहराई से जांच जारी

गुजरात एटीएस अब शमा परवीन अंसारी से पूछताछ कर यह पता लगाने की कोशिश कर रही है कि—

  • उसके देशभर में और किन-किन युवाओं से संपर्क थे
  • वह कितने समय से इस आतंकी नेटवर्क का हिस्सा थी
  • AQIS और पाकिस्तान की ओर से उसे क्या निर्देश और संसाधन मिल रहे थे
  • उसका ऑनलाइन जिहाद नेटवर्क कैसे और कहाँ तक फैला हुआ है

🚨 गुजरात ATS की सतर्कता सराहनीय

गुजरात एटीएस की यह कार्रवाई ऐसे समय में हुई है जब देश में ऑनलाइन कट्टरपंथ की चुनौती लगातार बढ़ रही है।
शमा परवीन का मामला यह भी दर्शाता है कि आतंकवादी संगठन अब डिजिटल माध्यमों के जरिए भारत के युवाओं को निशाना बना रहे हैं।