Real Money Gaming पर लगा ताला: Dream11, PokerBaazi, MPL और Zupee बंद, यूजर्स के पैसे पर सवाल

भारत सरकार ने Promotion and Regulation of Online Gaming Bill, 2025 पास कर दिया है, जिसके बाद देशभर की Real Money Gaming (RMG) इंडस्ट्री में भूचाल मच गया है। इस नए कानून के तहत Dream11, PokerBaazi, MPL, Zupee और Games24x7 जैसे बड़े गेमिंग प्लेटफ़ॉर्म्स को अपने पैसे वाले गेम बंद करने पड़े हैं।

सरकार का बड़ा कदम – क्यों बैन हुआ Real Money Gaming?

IT मंत्री अश्विनी वैष्णव ने RMG को “ड्रग्स से ज्यादा खतरनाक” बताते हुए कहा कि इन खेलों के कारण देश में सुसाइड और आर्थिक नुकसान तेजी से बढ़ रहा था, खासकर लोअर मिडिल क्लास और युवाओं पर इसका गहरा असर पड़ रहा था।
लोग लाखों रुपये जुए और सट्टे में गंवा रहे थे और कई परिवार कर्ज और तनाव में टूट रहे थे।

किन कंपनियों पर असर पड़ा?

इस कानून से भारत की लगभग सभी बड़ी RMG कंपनियां प्रभावित हुई हैं –

  • Dream11
  • MPL (Mobile Premier League)
  • Games24x7 (My11Circle)
  • Zupee
  • PokerBaazi
  • Gameskraft
  • WinZO
  • Junglee Games
  • Head Digital Works
  • Probo

इन सभी ने अपने पैसे वाले गेम्स बंद करने की घोषणा कर दी है। कुछ प्लेटफॉर्म्स ने डिपॉजिट और गेमप्ले रोक दिए हैं, लेकिन यूजर्स को भरोसा दिलाया है कि उनके पैसे 100% सुरक्षित हैं और निकाले जा सकते हैं।

यूजर्स के पैसे वापस मिलेंगे या नहीं?

  • Dream11, MPL और My11Circle ने साफ कहा है कि यूजर्स अपना बैलेंस निकाल सकते हैं।
  • Zupee ने RMG बंद करने के बावजूद अपने फ्री गेम्स जैसे Ludo Supreme और Snakes & Ladders जारी रखे हैं।
  • Gameskraft और Probo ने भी Add Cash बंद कर दिया है लेकिन Withdrawal चालू है।

इसका मतलब यह है कि फिलहाल कंपनियां यूजर्स का पैसा रिफंड करने के लिए बाध्य हैं, ताकि उन पर कानूनी कार्रवाई न हो।

नए कानून में क्या है?

  • किसी भी तरह के Real-Money Game, उसके ट्रांजैक्शन और प्रोमोशन पर पूरी तरह रोक।
  • नियम तोड़ने पर कंपनी पर 1 करोड़ रुपये तक का जुर्माना और 3 साल की जेल
  • गेमिंग कंपनियों के प्रोमोटर्स पर 50 लाख रुपये तक का फाइन और 2 साल जेल

सरकार का गेमिंग हब प्लान

सरकार ने साफ किया है कि यह बैन केवल Real-Money Gaming पर है।

  • E-sports और Social Gaming को बढ़ावा दिया जाएगा।
  • एक National Gaming Commission बनाया जाएगा जो नियम तय करेगा।
  • प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा है कि भारत को वैश्विक गेमिंग हब बनाने की दिशा में काम हो रहा है।
  • E-sports को 2027 ओलंपिक में शामिल किया जा चुका है, और भारत इसमें बड़ी भूमिका निभाना चाहता है।

इंडस्ट्री की नाराज़गी

गेमिंग इंडस्ट्री की संस्थाओं (FIFS, AIGF और EGF) ने इस कानून का विरोध किया है। उनका कहना है कि –

  • इससे भारतीय कंपनियों को भारी नुकसान होगा,
  • लाखों नौकरियाँ खतरे में पड़ सकती हैं,
  • और ब्लैंकेट बैन से इल्लीगल प्लेटफॉर्म्स को बढ़ावा मिलेगा।
    कुछ एक्सपर्ट्स ने इसे संविधान के Article 19(1)(g) यानी “बिज़नेस करने के अधिकार” के खिलाफ भी बताया है।

निचोड़

सरकार ने यह कदम जनता के हित में उठाया है ताकि युवाओं को लत, आर्थिक नुकसान और मानसिक तनाव से बचाया जा सके। हालांकि, इसका सीधा असर भारत की 10,000 करोड़ रुपये से ज्यादा की Real-Money Gaming इंडस्ट्री और लाखों यूजर्स पर पड़ेगा।

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