ऊर्जा मंत्री ने पंचायत द्वारा उठाए गए कर्मचारी समस्याओं के समाधान करने का आश्वासन देने के साथ साथ हर्ष व्यक्त करते हुए विद्युत मजदूर पंचायत का 24 वें द्विवार्षिक सम्मेलन में मुझे आने का मौका देने के लिए विद्युत मजदूर पंचायत का आभार प्रकट किया
लखनऊ। विद्युत मजदूर पंचायत उत्तर प्रदेश संबंध हिंद मजदूर सभा का 24 वां द्वि-वार्षिक सम्मेलन शनिवार 8 अप्रैल को लाल बहादुर शास्त्री गन्ना संस्थान लखनऊ में बी सी उपाध्याय की अध्यक्षता में ऊर्जा मंत्री ए के शर्मा द्वारा दीप प्रज्वलित कर उद्घाटन किया गया। इस अवसर पर ऊर्जा मंत्री द्वारा आज एक अनोखा पहल करते हुए मंच के सामने लगी कुर्सियो के बीच मे जाकर कर्मचारियों से मिले और उनसे बात किया, जिसका विधुत मज़दूर पंचायत द्वारा स्वागत करते हुए उम्मीद जताया कि अब कर्मचारियों की उम्मीदों को द्वारा पूर्ण किया जाएगा।
सम्मेलन में स्वागत भाषण द्वारा डॉ आर बी सिंह ने ऊर्जा मंत्री ए के शर्मा, ट्रेड यूनियन के पदाधिकारियों सम्मेलन में उपस्थित अधिकारियों, पत्रकार बंधुओं एवं प्रदेश के कोने-कोने से सम्मेलन में भाग लेने आए विद्युत मजदूर पंचायत के प्रतिनिधियों का हार्दिक स्वागत एवं अभिनंदन करते हुए कहा कि आजादी के इस अमृत काल में विद्युत मजदूर पंचायत उत्तर प्रदेश का सम्मेलन ऊर्जा निगम के विद्युत कर्मियों के लिए मील का पत्थर साबित होगा।
सम्मेलन को संबोधित करते हुए विद्युत मजदूर पंचायत के महामंत्री गिरीश कुमार पांडेय ने मजदूर आंदोलनों, कर्मचारी समस्याओं पर प्रकाश डालते हुए ऊर्जा मंत्री को अवगत कराया कि जब प्रदेश में लगभग 40 लाख विधुत उपभोक्ता थे, तो विद्युत विभाग में अधिकारियों/कर्मचारियों की संख्या लगभग एक लाख थी, जबकि वर्तमान समय में लगभग 3 करोड़ 30 लाख उपभोक्ताओं पर अधिकारियों कर्मचारियों की संख्या घटकर मात्र 35000 मात्र हो गई है। ऊर्जा निगम के महत्वपूर्ण कार्य संविदा/निविदा कर्मियों के माध्यम से कराए जा रहे हैं, लेकिन उन्हें जीने लायक वेतन भी नहीं दिया जा रहा है, जबकि सेना के बाद ऊर्जा विभाग काफी जोखिम भरा विभाग है, जिसमें आए दिन विद्युतकर्मी उपभोक्ता की सेवा करते हुए अपने प्राणों की आहुति देते हैं।
उन्होंने कहा कि ऊर्जा निगमों में लगभग एक लाख पद रिक्त हो चुके हैं और 25 हजार बी0ओ0डी0 से पद स्वीकृत होकर शासन की स्वीकृति के लिए लंबित हैं, इन सभी पदों पर संविदा कर्मियों की नियमित नियुक्ति करते हुए भर्ती का मांग की। कर्मचारियों की वेतन विसंगतियों ,भत्तों रियायती दरों पर विद्युत कर्मियों को मिल रही विद्युत व्यवस्था की सुविधा जारी रखने, पुरानी पेंशन बहाल करने, कैशलेस चिकित्सा की व्यवस्था करने, पदोन्नति के पदों पर पदोन्नति कराए जाने, चतुर्थ श्रेणी से टीजी 2 के पद पर प्रोन्नति का कोटा पूर्व की भांति बहाल किए जाने, टी0जी0-2 को भी पेट्रोल भत्ता, सीयूजी सिम देने के साथ ही टीजी 2 और कार्यकारी सहायकों का निगमों में आमेलन की बंद व्यवस्था पुनः बहाल की जाने, अधिष्ठान संबंधी मामलों की समीक्षा किए जाए, पेंशन मामलों के निस्तारण हेतु प्रक्रियाओं का सरलीकरण किया जाए, इसके साथ ही गत 3 दिसंबर 2022 को प्रबंधन एवं विद्युत कर्मचारी संयुक्त संघर्ष समिति उत्तर प्रदेश के मध्य संपन्न लिखित समझौते का पालन कराया जाने एवं 19 मार्च 2023 को हड़ताल समाप्ति की घोषणा के समय प्रेस वार्ता के दौरान ऊर्जा मंत्री द्वारा ऊर्जा निगम के अध्यक्ष को समस्त उत्पीड़न कार्रवाई समाप्त करने के लिए दिए गए निर्देश का पालन कराए जाने ,सभी कर्मचारियों का बीमा कराए जाने, विद्युत दुर्घटनाओं से मृत हुए विद्युत कर्मियों के मुआवजे में वृद्धि करने एवं सभी निगमों में संविदा/निविदा कर्मियों के लिए समान वेतन लागू करने हेतु वेतन वृद्धि किए जाने सहित आदि मांगों पर ऊर्जा मंत्री ए के शर्मा का ध्यान आकर्षित करते हुए सभी समस्याओं का समाधान कराने का आग्रह किया।
सम्मेलन को संबोधित करते हुए ऊर्जा मंत्री ए के शर्मा ने विद्युत कर्मियों को अपने परिवार का सदस्य बताते हुए विस्तार से सभी बिंदुओं पर कार्यवाही का भरोसा देते हुए जैसे विद्युत कर्मियों को बीमा का लाभ दिए जाने, संविदा कर्मियों को सभी निगमो में समान वेतन दिए जाने, विद्युत दुर्घटना में आए दिन विद्युत कर्मियों की होने वाली मौतों पर गंभीर चिंता व्यक्त करते हुए इसके रोकथाम हेतु कारगर व्यवस्था करने के साथ-साथ सुरक्षा उपकरण उपलब्ध कराने ,बोनस दिए जाने एवं समयबद्ध वेतनमान पर गठित कमेटी की रिपोर्ट आने के बाद द्विपक्षीय वार्ता कर उसको लागू करने का आश्वासन दिया गया।
इस अवसर पर ऊर्जा मंत्री ए के शर्मा ने कहा कि विद्युत विभाग का कार्य काफी संवेदनशील एवं जनमानस से जुड़ा हुआ है, इसलिए उन्होंने कर्मचारियों से आह्वान किया कि विद्युत कर्मी जनता की सेवा करें एवं उत्तम सेवा प्रदान करें उन्होंने सभागार में उपस्थित हजारों कर्मचारियों के समक्ष घोषणा किया कि विद्युत कर्मियों के चिकित्सा के लिए कैशलेस की सुविधा जल्द से जल्द प्रदान की जाएगी एवं दुर्घटनाग्रस्त कर्मचारियों के इलाज के लिए कैशलेस व्यवस्था बहाल किया जा चुका है, विद्युत कर्मियों के अथक प्रयास और लगन के कारण उनके बीते एक साल के कार्यकाल में विद्युत उत्पादन में 13 प्रतिशत से ज्यादा की वृद्धि हुई है साथ ही 5प्रतिशतसे ज्यादा की लाइन लास की कमी हुई है, उन्होंने कर्मचारियों से आत्मीयता व्यक्त करते हुए कर्मचारियों के संबंध में की गई समस्त उत्पीड़नात्मक कार्रवाई को समाप्त कराने के साथ ही 3 दिसंबर 2022 के लिखित समझौते को लागू कराने का भरोसा दिया।
लखनऊ के कुछ प्रतिष्ठित समाचार पत्रों में सम्मेलन के संदर्भ में लगी हुई होर्डिंग के विषय मे समाचार प्रकाशन किया गया था, जिसका संगठन ने संज्ञान लेते हुए अध्यक्ष और महामंत्री द्वारा खंडन जारी करते हुए कहा कि विधुत मज़दूर पंचायत किसी राजनीतिक पार्टी से सम्बद्ध नही है।
सम्मेलन को सर्वश्री हिन्द मज़दूर सभा के प्रांतीय महामंत्री उमाशंकर मिश्रा, अभियंता संघ के अध्यक्ष राजीव सिंह, विधुत मज़दूर पंचायत के महामंत्री गिरीश कुमार पांडेय, प्रदेश अध्यक्ष बीसी उपाध्याय, प्रांतीय अतिरिक्त महामंत्री डॉ0 आर बी सिंह, निर्भय नारायण सिंह, कार्यवाहक अध्यक्ष राज नारायण सिंह, प्रांतीय उपाध्यक्ष पीएन तिवारी, नरेश चंद्र शर्मा, बीबी राय, ओपी सिंह, सनाउल्लाह खान, धीरेंद्र त्रिपाठी, रघुवंश मिश्रा, संजय यादव, विजय सिंह, जीउत लाल, अरविंद कुशवाहा, अंकुर पांडे, सौरभ श्रीवास्तव व अनुनय कुमार पांडे आदि ने संबोधित किया। सम्मेलन की अध्यक्षता बीसी उपाध्याय ने की एवं संचालन आर के वाही ने किया।