Monday, 11 December 2023 00:00
AWAZ PLUS MEDIA HOUSE
जिस प्रकार से कुछ मीडिया द्वारा फर्जी तरीके हुए इस निलंबन को प्रमुखता से सवाल उठाते हुए विद्युत प्रशासन द्वारा की गई चूक को रेखांकित किया था, उसको लेकर ऊर्जा विभाग सदमें में है, हर जगह ऊर्जा मंत्री के साथ-साथ प्रबन्ध निदेशक - मध्यांचल विद्युत वितरण निगम लि. की किरकिरी हो रही है.......
लखनऊ। बिजली चोर श्याम बाबू गुप्ता के आरोप पर निलंबित किए गए उपखंड अधिकारी सरोसा प्रकरण में अधीक्षण अभियंता द्वारा रिपोर्ट तैयार कर मुख्य अभियंता को प्रेषित कर दिया है।
बिजली चोर श्याम बाबू गुप्ता की शिकायत पर निलंबन एवं निलंबन पत्र के साथ आरोपी उपभोक्ता की ऊर्जा मंत्री ए के शर्मा के दरबार में फोटोग्राफ सोशल मीडिया पर वायरल होने से ऊर्जा मंत्री के साथ-साथ प्रबन्ध निदेशक - मध्यांचल विद्युत वितरण निगम लि. पर कई सवाल खड़े हुए, इसके साथ ही इस प्रकरण पर अभियंता संघ द्वारा आपात बैठक कर प्रबंध निदेशक से न्याय करने की गुहार लगाई गई।
इसके उपरान्त ऊर्जा विभाग बैकफुट पर आकर सम्बन्धित अधीक्षण अभियंता को जॉच करने का आदेश दिया। प्राप्त जानकारी के अनुसार बिजली चोर श्याम बाबू गुप्ता के आरोप पर निलंबित किए गए उपखंड अधिकारी सरोसा प्रकरण में अधीक्षण अभियंता द्वारा रिपोर्ट तैयार कर मुख्य अभियंता को प्रेषित कर दिया है।
जिस प्रकार से कुछ मीडिया द्वारा फर्जी तरीके हुए इस निलंबन को प्रमुखता से सवाल उठाते हुए विद्युत प्रशासन द्वारा की गई चूक को रेखांकित किया था, उसको लेकर ऊर्जा विभाग सदमें में है, हर जगह ऊर्जा मंत्री के साथ-साथ प्रबन्ध निदेशक - मध्यांचल विद्युत वितरण निगम लि. की किरकिरी हो रही है, यहीं कारण है कि पूर्व में हुए निलम्बन की कार्यवाही को बदलकर सिर्फ इंजीनियर अमन दोषी को सिर्फ चेतावनी देकर स्थानांतरण कर गर्म माहौल को ठंडा करने की कोशिश हो, लेकिन यह तो तय है कि बिजली चोर आवेदक की 100 से 150 मीटर की दूरी पर बिजली विभाग के कर्मियों की मदद से अवैध संयोजन देकर बिजली चोरी कराने की शिकायत को संज्ञान में लेकर भी सम्बन्धित अवर अभियन्ता के खिलाफ कोई भी कारवाई नहीं होगी।
बताते चले कि एक आवेदक जो कि स्वयं एक बिजली चोर है का यह शिकायत कि उपखंड अधिकारी अमन तिवारी जिस भी ट्रांसफार्मर को ओवरलोडेड बता कर संयोजन के लिए एस्टीमेट बना रहे हो रहे हैं, उसी ट्रांसफार्मर से तीन अन्य लोगों को 100 से 150 मीटर की दूरी पर बिजली विभाग के कर्मियों की मदद से अवैध संयोजन देखकर बिजली चोरी कराई जा रही है.... बार-बार अपने बयान से मुकरने के कारण सुर्खियों में रहने वाले ऊर्जा मंत्री ए के शर्मा भी कार्रवाई के आदेश देने के पूर्व या नहीं सोचा कि संयोजन देने का काम और संयोजन रिपोर्ट लगाने का काम अवर अभियंता का होता है ना कि उपखंड अधिकारी का। जबकि आवेदक श्याम बाबू गुप्ता की पूर्व में अगस्त माह में प्रथम सूचना रिपोर्ट भी दर्ज कराई गई थी। आवेदक श्याम बाबू गुप्ता के घर की दूरी 110 मीटर है। श्याम बाबू गुप्ता जिस परिवर्तक से विद्युत संयोजन मांग रहे हैं वह 16 केवीए का एक निजी जमा योजना के अंतर्गत लगाया गया था, जिसका अभी दो वर्ष भी पूरा नहीं हुआ है, इसलिए 11केवी की हाईटेंशन लाइनें से डबल पोल का 25 केवीए का ट्रांसफार्मर लगाकर एस्टीमेट बनाकर प्रेषित किया गया था तथा उनके द्वारा बिना पैसे जमा करवाएं डायरेक्ट चोरी की जा रही थी जिस कारण अगस्त माह में इनकी एफ आई आर कराई गई।