Monday, 07 August 2023 00:00
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नोएडा सेक्ट 62 से मोहननगर को मेट्रो प्रोजेक्ट से जोड़ने की कवायद शुरू हो गई है। इसे लेकर इस हफ्ते जीडीए और डीएमआरसी के बीच बैठक होनी है। माना जा रहा है कि यह बैठक मंगलवार को हो सकती है। बैठक में जीडीए नोएडा से साहिबाबाद तक मेट्रो संचालित करने से लेकर अन्य रूट पर भी मंथन करेगा।
जीडीए मेट्रो की रेड और ब्लू लाइन को जोड़ने में जुटा है। वैशाली और नोएडा से मोहनगर तक मेट्रो फेज तीन के दो प्रोजेक्ट की कुल लागत 3325.22 करोड़ रुपये आ रही है। इस कारण प्राधिकरण अन्य विकल्पों से इन मेट्रो लाइनों को जोड़ने पर भी मंथन कर रहा है। पिछले दिनों डीएमआरसी ने नोएडा सेक्टर 62 से वैशाली मेट्रो स्टेशन को जोड़ने का विकल्प प्राधिकरण के सामने रखा था। उनका तर्क था कि वैशाली मेट्रो स्टेशन रैपिड के साहिबाबाद स्टेशन से जोड़ा जा सकता है। ऐसे में रैपिड से जरिये रेड और ब्लू लाइन भी जुड़ जाएंगे। लेकिन इस रूट पर निजी जमीन आने के कारण प्राधिकरण आगे बढ़ने को तैयार नहीं है। उसका मानना है कि इससे प्रोजेक्ट की लागत बढ़ जाएगी। अब प्राधिकरण डीएमआरसी के साथ अन्य रूटों पर विचार करेगा। इसमें माना जा रहा है कि प्राधिकरण नोएडा से साहिबाबाद तक मेट्रो रूट को प्रथमिकता दे सकता है। हालांकि पुराने रूटों के साथ नए विकल्प पर भी चर्चा की जा सकती है।
मेट्रो फेज तीन के यह है दो पुराने रूट
पहले रूट के अनुसार, वैशाली से मोहननगर रूट की लंबाई 5.04 किमी है। इस रूट पर चार स्टेशन प्रहलाद गढ़ी, सेक्टर 14 वसुंधरा, साहिबाबाद और मोहननगर है। प्रोजेक्ट की लागत 1808.22 करोड़ है। वहीं, दूसरा रूट नोएडा से साहिबाबाद तक है। इस रूट की लंबाई 5.17 किमी है। इस रूट पर चार स्टेशन वैभव खंड, इंदिरापुरम, शक्ति खंड और सेक्टर पांच वसुंधरा मेट्रो स्टेशन है। इस प्रोजेक्ट की लागत 1517 करोड़ रुपये हैं।
शासन से मांगा जा रहा 50 फीसदी अंशदान
इन दोनों कॉरिडोर की लागत 3325.22 करोड़ प्रस्तावित है। इसमें जीडीए ने शासन से 50 फीसदी अंशदान मांगा है। साथ ही जीडीए, नगर निगम, आवास विकास परिषद और यूपीएसआईडीसी पर लागात का 30 फीसदी अंशदान वहन करें। इन सभी स्थानीय निकायों पर मेट्रो फेज टू (दिलशाद गार्डन से पुराना बस अड्डा) कॉरिडोर के निर्धारित प्रतिशत के तहत ही भार डाला जाए। सरकार भी पहले की तरह 20 फीसदी अंशदान दे रहा है। रॉलिंग स्टॉक का प्रबंध डीएमआरसी ही करें।
नए रूट में यह आ रही दिक्कत
जीडीए के प्रभारी मुख्य अभियंता मानवेंद्र सिंह बताते हैं कि नोएडा से वैशाली मेट्रो स्टेशन को जोड़ने वाले 5.83 किमी लंबे नए रूट के अलाइमेंट में कई जगह निजी जमीन आ रही है। नोएडा से सीआईएसएफ होते हुए डीपीएस इंदिरापुरम के पास रूट के बीच ग्रुप हाउसिंग प्रोजेक्ट और निर्माणाधीन अस्पताल आ रहा है। इसी तरह रामप्रस्थ क्षेत्र में कुछ निजी जमीन आ रही है। उन्होंने बताया कि निजी जमीन खरीदने में काफी दिक्कत होगी। इस कारण जीडीए उपाध्यक्ष ने नए रूट पर सहमत नहीं जताई।