Wednesday, 03 May 2017 10:00 AM
SHALINI KASHYAP
दिल्ली के सरकारी स्कूलों की बदहाली और शिक्षा के स्तर पर हमेशा से सवाल उठते रहे हैं. स्कूलों की पढ़ाई की दुर्दशा का रोना होता रहा है. ऐसे में अगर यह खबर आए कि दिल्ली की सरकारी स्कूलों से बच्चों ने आईआईटी जैसी परीक्षा पास की है, तब सब यह सोचने को मजबूर होंगे कि क्या वाकई दिल्ली के सरकारी स्कूल का शिक्षा स्तर बदहाल है.
दिल्ली में करीब दो साल पहले आम आदमी पार्टी की सरकार बनी. पार्टी के जुझारू नेताओं में एक मनीष सिसोदिया राज्य के उपमुख्यमंत्री बने और शिक्षा विभाग की जिम्मेदारी अपने हाथों में ली. तब से लगातार आम आदमी पार्टी की सरकार लोगों के बीच जाकर शिक्षा व्यवस्था और शिक्षा के स्तर में सुधार के लिए सलाह मांगती रही और जरूरी सलाह स्कूलों में लागू भी किए गए.
इस पूरे मामले में खुद दिल्ली के उपमुख्यमंत्री होने के नाते मनीष सिसोदिया ने कई बार कई स्कूलों का औचक निरीक्षण किया. कई मौकों पर बदलाव के लिए जो भी संभव प्रयास अपने स्तर से हो सकते थे वह लागू करने के लिए कोई कसर नहीं छोड़ी. बताया जाता है कि दिल्ली के सरकारी स्कूलों में शिक्षा के स्तर को सुधारने, बच्चों को कंप्यूटर का भरपूर ज्ञान देने की दिशा में भी कई कदम उठाए गए.